बरेली : दिल्ली के अग्निकांड में जान गंवाने वाले किन्नरों के लिए गांधी उद्यान में गांधी प्रतिमा पर श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया। आत्मा की शांति को प्रार्थना के साथ किन्नर आयोग गठित किए जाने की मांग भी उठाई गई। सैयद फरजंद अली एजूकेशन एंड सोशल फाउंडेशन की तरफ आयोजित श्रद्धांजलि सभा में मौत का शिकार बने किन्नरों की याद में मोमबत्तियां भी जलाई गईं। सिस्फा इस्फी के सचिव डा. एसई हुदा ने कहा कि घटना की बारीकी से जांच होना चाहिए। इसके साथ किन्नरों पर होने वाले अत्याचार रोकने के लिए आयोग भी बने। ताकि किन्नरों का सामाजिक, शैक्षिक और आर्थिक स्तर सुधारा जा सके। उनकी समस्याओं का निस्तारण हो। उन्हें भी समाज की मुख्यधारा में जुड़ने का अवसर मिले। श्रद्धांजलि सभा में महताब अली खां, पम्मी खां वारसी इत्यादि शामिल रहे।
अभी न पर्दा गिराओ, ठहरो,--------
अभी न पर्दा गिराओ, ठहरो, कि दास्ताँ आगे और भी है
अभी न पर्दा गिराओ, ठहरो!
अभी तो टूटी है कच्ची मिट्टी, अभी तो बस जिस्म ही गिरे हैं
अभी तो किरदार ही बुझे हैं।
अभी सुलगते हैं रूह के ग़म, अभी धड़कते हैं दर्द दिल के
अभी तो एहसास जी रहा है
यह लौ बचा लो जो थक के किरदार की हथेली से गिर पड़ी है
यह लौ बचा लो यहीं से उठेगी जुस्तजू फिर बगूला बनकर
यहीं से उठेगा कोई किरदार फिर इसी रोशनी को लेकर
कहीं तो अंजाम-ओ-जुस्तजू के सिरे मिलेंगे
अभी न पर्दा गिराओ, ठहरो!
अभी न पर्दा गिराओ, ठहरो!
अभी तो टूटी है कच्ची मिट्टी, अभी तो बस जिस्म ही गिरे हैं
अभी तो किरदार ही बुझे हैं।
अभी सुलगते हैं रूह के ग़म, अभी धड़कते हैं दर्द दिल के
अभी तो एहसास जी रहा है
यह लौ बचा लो जो थक के किरदार की हथेली से गिर पड़ी है
यह लौ बचा लो यहीं से उठेगी जुस्तजू फिर बगूला बनकर
यहीं से उठेगा कोई किरदार फिर इसी रोशनी को लेकर
कहीं तो अंजाम-ओ-जुस्तजू के सिरे मिलेंगे
अभी न पर्दा गिराओ, ठहरो!
fight for Eunuchs
बरेली : दिल्ली के अग्निकांड में जान गंवाने वाले किन्नरों के लिए गांधी उद्यान में गांधी प्रतिमा पर श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया। आत्मा की शांति को प्रार्थना के साथ किन्नर आयोग गठित किए जाने की मांग भी उठाई गई। सैयद फरजंद अली एजूकेशन एंड सोशल फाउंडेशन की तरफ आयोजित श्रद्धांजलि सभा में मौत का शिकार बने किन्नरों की याद में मोमबत्तियां भी जलाई गईं। सिस्फा इस्फी के सचिव डा. एसई हुदा ने कहा कि घटना की बारीकी से जांच होना चाहिए। इसके साथ किन्नरों पर होने वाले अत्याचार रोकने के लिए आयोग भी बने। ताकि किन्नरों का सामाजिक, शैक्षिक और आर्थिक स्तर सुधारा जा सके। उनकी समस्याओं का निस्तारण हो। उन्हें भी समाज की मुख्यधारा में जुड़ने का अवसर मिले। श्रद्धांजलि सभा में महताब अली खां, पम्मी खां वारसी इत्यादि शामिल रहे।
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